Vaccine For Children: वैश्विक स्तर पर जारी कोरोना संकट के बीच एक अच्छी खबर सामने आई है. Pfizer-BioNTech की कोरोना वैक्सीन को अब ब्रिटेन में 12-15 साल के बच्चों के लिए मंजूरी दे दी गई है. रिपोर्ट के अनुसार, ‘यूरोपियन यूनियन की ड्रग नियामक संस्था की ओर से Pfizer/BioNTech के इस कोरोना वैक्सीन को मंजूरी दिए जाने के बाद ब्रिटेन की नियामक संस्था की ओर ये यह इजाजत दी गई है. न्यूज एजेंसी ANI ने समाचार एजेंसी रॉयटर्स के हवाले से यह जानकरी दी है.
गुलेटरी एजेंसी के प्रमुख ने कहा, ‘हमने पूरी सावधानी के साथ 12 से 15 साल तक के बच्चों के क्लीनिकल ट्रायल डेटा की समीक्षा की. इसके बाद हमने पाया कि फाइजर-बायोनटेक की वैक्सीन इस आयुवर्ग के लिए सुरक्षित होने के साथ-साथ प्रभावी भी है.
United Kingdom approves Pfizer/BioNTech COVID shot for 12- to 15-year-olds: Reuters pic.twitter.com/LL2wSXAZrn
— ANI (@ANI) June 4, 2021
इससे पहले ‘द लैन्सेट’ पत्रिका में प्रकाशित एक अध्ययन के अनुसार फाइजर-बायोएनटेक टीका कोरोना वायरस के डेल्टा स्वरूप (बी.1.617.2) के खिलाफ कम एंटीबॉडी पैदा करता है. अध्ययन में यह भी बताया गया है कि वायरस को पहचानने और उसके खिलाफ लड़ने में सक्षम एंटीबॉडी बढ़ती आयु के साथ कमजोर होती चली जाती है और इसका स्तर समय के साथ गिरता चला जाता है. इसमें कहा गया है कि फाइजर-बायोएनटेक टीके की केवल एक खुराक देने से लोगों में बी.1.617.2 स्वरूप के खिलाफ एंटीबॉडी का स्तर विकसित होने की संभावना इसके पिछले स्वरूप बी.1.1.7 (अल्फा) की तुलना में कम है.
ब्रिटेन के फ्रांसिस क्रिक इंस्टीट्यूट के अनुसंधानकर्ताओं द्वारा किये गए अध्ययन में कहा गया है कि केवल एंटीबॉडी का स्तर ही टीके की प्रभावकारिता की भविष्यवाणी नहीं करता बल्कि संभावित रोगियों पर अध्ययनों की भी जरूरत होती है. अध्ययन के दौरान कोविड रोधी टीके फाइजर-बायोएनटेक की एक या दोनों खुराकें ले चुके 250 स्वस्थ लोगों के रक्त में, पहली खुराक लेने के तीन महीने बाद तक एंटीबॉडी का विश्लेषण किया गया. अध्ययनकर्ताओं ने सार्स-कोव-2 वायरस के पांच विभिन्न स्वरूपों के कोशिकाओं में जाने से रोकने के लिये एंटीबॉडी की क्षमता का परीक्षण किया.